
रियाणा से ताल्लुक रखने वाले 34 वर्षीय मंत्री संदीप कुमार रोज सुबह अपनी पत्नी के पैर छूते हैं. इसके जवाब में उनकी पत्नी उन्हें खूब तरक्की करने का आर्शीवाद देती हैं. उनके दोस्तों को यह बात पता चली तो वे उनसे ठिठोली करते हुए पूछते हैं कि, ‘कहीं वो तुम्हें सदा सुहागन रहो तो नहीं बोलतीं हैं.’ वो मानते हैं कि उनके माता-पिता के बाद रितु ही हैं जिन्होंने उसके सुख और दुख में किसी भी पल उसका साथ नहीं छोड़ा. दोनों की मुलाकात दिल्ली के दयाल सिंह कॉलेज में तब हुई थी जब संदीप ने रितु की रैगिंग करते हुए उन्हें गाना गाकर सुनाने को कहा था.
सेना में सूबेदार पिता के आठवें बेटे संदीप कुमार की शादी दिल्ली के डिफेंस कॉलोनी में रहने वाली रितु से हुई थी. दोनों परिवार की आर्थिक स्थिति बिल्कुल अलग थी जिस कारण उनकी शादी में कुछ अड़चनें भी आयी. लेकिन अंतत: उनके सपनों को दोनों परिवारों ने मिलकर साकार किया. सुल्तानपुरी स्थित संदीप के घर में प्रवेश और डिफेंस कॉलोनी में रह चुकी रितु के लिये वहाँ रहना उतना आसान भी नहीं था. सुल्तानपुरी दिल्ली में होने के बावजूद उस स्थान का दर्ज़ा रखता है जहाँ अब भी किसी घर की बहू को अपना मुँह दुपट्टे से ढ़कना पड़ता है.
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